Saturday, May 16, 2020

अल्फा कण, बीटा कण एवं गामा विकिरणों की प्रकृति (Nature of α-Particle,β-Particle,𝛾-radiation)

अल्फा कण की प्रकृति:

  1.  हीलियम परमाणु के दोनों  इलेक्ट्रॉनों को निकाल दिया जाए तो  शेष नाभिक अल्फा कण कहलाता है इसे  ₂He⁴ से प्रदर्शित करते हैं। अल्फा कण का द्रव्यमान 6.643×10⁻²⁷  किलोग्राम तथा आवेश +3.2×10⁻¹⁹ कूलाम होता है।
  2. अल्फा कणों का प्रारंभिक वेग रेडियोएक्टिव पदार्थ की प्रकृति पर निर्भर करता है । किसी एक तत्व के नाभिकों  से उत्सर्जित अल्फा -कणों  का वेग  अर्थात उनकी ऊर्जा परस्पर समान होती है।
  3. जब ये कं गैसों  में से होकर गुजरते हैं तो  गैस का आयनीकरण हो जाता है।
  4. अल्फा कण की बेधन  क्षमता कम होती है। यह एलूमिनियम  के लगभग 0.1  मिलीमीटर मोटी चद्दर को भेद सकता है।
  5. ये धन आवेशित कण हैं और  चुंबकीय तथा विद्युत क्षेत्र मे विक्षेपित हो जाते हैं।
  6. अल्फा कण फोटो प्लेट पर पड़ने पर उसे काला कर देते हैं तथा प्रतिदीप्तिशील  पदार्थों पर पड़ने पर तीव्र चमक  उत्पन्न करते हैं।
  7. अल्फा कण शरीर की जैव कोशिकाओं को नष्ट कर देते हैं अतः अत्यंत हानिकारक होते हैं।





बीटा कणों की प्रकृति-



  1. बीटा कण वास्तव में तीव्रगामी इलेक्ट्रान होते हैं। इनका द्रव्यमान (9.1×10⁻³¹) किलोग्राम तथा आवेश (-1.6×10⁻¹⁹) कूलोम होता है।
  2. एक ही रेडियो एक्टिव तत्व से निकले हुए सभी बीटा कणों की चाल  समान नहीं होती।
  3. बीटा कण गैसों का आयनीकरण कर देते हैं।
  4. इनकी भेदन छमता 1 सेंटीमीटर से कम होती है। अतः 1 सेंटीमीटर मोटी प्लेट द्वारा इन्हें रोक जा सकता है।
  5.  ऋण आवेशित होने के कारण यह वैद्युत एवं चुंबकीय क्षेत्र में  विक्षेपित हो जाते हैं।
  6. बीटा कण फोटोग्राफिक प्लेट को काला कर देते हैं तथा प्रतिदीप्तिशील पदार्थों में प्रतिदीप्ति उत्पन्न करते हैं|
  7. बीटा कण उच्च परमाणु द्रव्यमान की धातुओं से टकराकर एक्स किरणे उत्पन्न करते हैं|


गामा विकिरणों  की प्रकृति-

  1. गामा किरणें प्रकाश तथा एक्स किरणों की भांति विद्युत चुंबकीय तरंगे होती हैं। गामा किरणों का तरंग दैर्ध्य 10⁻⁸ होता है।
  2.   गामा किरणों की निर्वात में चाल 3×10⁸ मीटर प्रति सेकंड होती है।
  3.  इनकी भेदन क्षमता बहुत अधिक होती है यह लगभग 30 सेंटीमीटर मोटी लोहे की चादर को पार कर जाती हैं।
  4.  विद्युत उदासीन होने के कारण वैद्युत एवं चुंबकीय क्षेत्र में इन पर कोई फर्क नहीं पड़ता।
  5. यह फोटोग्राफिक प्लेट पर बीटा कणों से भी अधिक  प्रभाव डालते हैं ।


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